बिहार राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण

Bihar State Disaster Management Authority Disaster Management Department, Government of Bihar

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अभियंताओं/वास्तुविदों/संवेदकों/राजमिस्त्रियों के लिए, भूकम्परोधी निर्माण एवं रेट्रोफिटिंग तकनीक से संबंधित प्रशिक्षण
बिहार राज्य में भूकम्प का जोखिम और इसके प्रति अधिक संवेदनशीलता, इस बात से स्पष्ट होती है कि राज्य के नेपाल से सटे आठ जिलें भूकम्प की दृष्टि से भूकम्प जोन 5 में आते हैं जो कि सर्वाधिक संवेदनशील है।
 

24 जिलें भूकम्प जोन 4 के अंतर्गत आते हैं एवं शेष 6 जिलें भूकम्प जोन 3 में आते हैं, इस प्रकार लगभग पूरा बिहार संवेदनशील भूकम्पीय क्षेत्र में आता है। यह सर्वविदित है कि भूकम्प के कारण लोगों की मृत्यु नहीं होती परन्तु भूकम्प के कारण संरचनाओं के गिरने से लोगो कि मृत्यु एवं जान-माल की क्षति होती है। इस संदर्भ में, आपदा प्रबंधन के बदले परिदृश्य में भूकंपरोधी भवनों का निर्माण एवं पूर्व में निर्मित मकानों का रेट्रोफिटिंग कर उन्हें भूकंपरोधी बनाया जाना एक सकारात्मक पहल है, जिसके लिए यह आवश्यक हो जाता है कि निर्माण कार्य में संलंग्न सभी साझेदारों का क्षमतावर्धन किया जाय एवं संवेदको तथा आमजन को भूकंपरोधी भवनों के निर्माण के संर्दभ में जागरूक किया जाए।

राज्य सरकार ने बिहार राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के माध्यम से, बिहार राज्य में, अभियंताओं/वास्तुविदों/संवेदकों/राजमिस्त्रियों के लिए, भूकम्परोधी निर्माण एवं रेट्रोफिटिंग तकनीक से संबंधित प्रशिक्षण प्रदान करने का निर्णय लिया है।

1. अनुभवी राजमिस्त्रियों का प्रशिक्षण :-

बिहार राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण ने भूकंप के दौरान आवासीय भवनों समेत अन्य संरचनाओं को होनेवाले नुकसान को कम करने के उद्देश्य से राज्य भर में असैनिक अभियंताओं व अनुभवी राजमिस्त्रियों को बड़े पैमाने पर प्रशिक्षण देने का लक्ष्य रखा है। इसके अंतर्गत प्रथम चरण में लगभग 5000 अभियंताओं, वास्तुविदों एवं संवेदकों तथा करीब 20000 अनुभवी राजमिस्त्रियों को भूकम्परोधी निर्माण तकनीक का प्रशिक्षण दिया जा चुका है। आपदा प्रबंधन के बदले परिदृश्य में भूकंपरोधी भवनों के निर्माण को बढ़ावा देने एवं पूर्व में निर्मित मकानों की रेट्रोफिटिंग कर उन्हें भूकंपरोधी बनाने की दिशा में प्राधिकरण कार्य कर रहा है। अनुभवी राजमिस्त्रियों के प्रशिक्षण कार्यक्रम को बेहतर और प्रभावी बनाने के उद्देश्य से भारत सरकार की संस्था नेशनल स्किल डेवलेपमेंट कारपोरेशन (एनएसडीसी) एवं प्राधिकरण के बीच एक MoU दिनांक 05/09/2024 को हस्ताक्षरित हुआ है | MoU में अंकित टाइमलाइन एवं NSDC द्वारा समय समय पर संशोधित टाइमलाइन के अनुरूप अग्रेतर करवाई हो रही है | ट्रेनिंग पार्टनर का चयन हो गया है एवं उन्हें जिला का आवंटन भी हो गया है |
 


 

2. बी एस टी एन (बिहार सिस्मिक टेलीमेट्री नेटवर्क) की स्थापना :-

बिहार सिस्मिक टेलीमेट्री नेटवर्क (बीएसटीएन) की स्थापना से संबंधित उपकरणों की प्राप्ति हेतु बिहार मौसम सेवा केंद्र द्वारा तैयार किये गए आरएफपी (प्रस्ताव के लिए अनुरोध) को पुनरीक्षण व संपुष्टि (वेट्टिंग) हेतु विशेषज्ञों को भेजा गया था। उनसे प्राप्त सुझावों को शामिल करते हुए संशोधित आरएफपी बिहार मौसम सेवा केंद्र से प्राप्त हुआ है बीएसटीएन के भवन निर्माण में हुई त्रुटि एवं जल रिसाव को ठीक करने के बिंदु पर आवश्यक निदेश बिहार राज्य भवन निर्माण निगम को दिया गया है | भवन निर्माण निगम द्वारा प्राधिकरण को प्रतिवेदन भेजा गया है कि मुंगेर एवं सहरसा फील्ड स्टेशन भवनों के भूकम्पीय पिलर में हो रहे रिसाव सम्बन्धी त्रुटी का निराकरण कर दिया गया है एवं अन्य कार्यों को भी शीघ्र ही पूरा कर लिया जायेगा | इन स्थलों का बिहार मौसम सेवा केंद्र के वैज्ञानिकों द्वारा निरीक्षण किया जाना अपेक्षित है |

3. राजकीय अभियंत्रण महाविद्यालयों के अंतिम वर्ष (असैनिक अभियंत्रण) के छात्रों के तीन दिवसीय प्रशिक्षण माह दिसम्बर 2024 से प्रारम्भ होना प्रस्तावित था किन्तु  राज्य के अभियंत्रण महाविद्यालियों में परीक्षा संचालित होने के कारण प्रशिक्षण प्रारम्भ नहीं किया जा सका था | इसे शुरू करने की दिशा में अग्रेतर कारवाई की जा रही है |

4.  भूकंप सुरक्षा क्लिनिक सह परामर्श केंद्र :-

  • राष्ट्रिय  प्रौद्योगिकी संस्थान पटना ,मुजफ्फरपुर प्रौद्योगिकी संस्थान,भागलपुर अभियंत्रण महाविद्यालय, राजकीय पॉलिटेक्निक सुरसंड (सीतामढ़ी) , एवं  राजकीय पॉलिटेक्निक, दरभंगा में भूकंप सुरक्षा क्लिनिक सह परामर्श केंद्र कार्यरत है ।
  • भूकंप सुरक्षा क्लिनिक सह परामर्श केंद्र को मल्टी डिजास्टर सेफ्टी क्लिनिक के रूप में अपग्रेड करने हेतु AR, VR, AI के क्षेत्र में कार्यरत कम्पनियों से भी जानकारी प्राप्त की जा रही है|


5. प्राधिकरण एवं आई आई टी पटना के बीच गठित MoU के आलोक में भवनों के रैपिड विज़ुअल स्क्रीनिंग (RVS ) हेतु एक मार्गदर्शिका तैयार की गयी है इस  मार्गदर्शिका के आधार पर भवनों के रेट्रोफिटिंग विषय पर अभियंताओं के लिए प्रशिक्षण कार्यक्रम तैयार किया जा रहा  है | 

7. स्कूली छात्रों को विभिन्न आपदाओं से बचाव की जानकारी प्रदान करने हेतु TCS  के सहयोग से 3D गेम तैयार किया जा रहा है |


भूकम्परोधी निर्माण एवं रेट्रोफिटिंग तकनीक पर प्रशिक्षण प्राप्त अभियंताओं/वास्तुविदों/संवेदकों/राजमिस्त्रियों की सूची:-



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